मासिक धर्म की अनियमितता क्या है कारण लक्षण आयुर्वेदिक उपचार उपाय

आज की पोस्ट में हम जानेंगे कि मासिक धर्म की अनियमितता क्या है और मासिक धर्म की अनियमितता कारण लक्षण क्या हैं. और इसके साथ ही यह भी जानेंगे मासिक धर्म की अनियमितता के घरेलू आयुर्वेदिक उपचार कौन-कौन से होते हैं. अनियमित पीरियड के बारे में यह पोस्ट पढ़कर हमें कमेंट में जरूर बताइए कि यह पोस्ट आपको कैसी लगी.
अनियमित मासिक धर्म की अनियमितता क्या है, अनियमित मासिक धर्म के कारण, अनियमित मासिक धर्म के लक्षण, अनियमित मासिक धर्म से बचने के घरेलु आयुर्वेदिक उपचार व उपाय
मासिक धर्म की अनियमितता क्या है?
What is irregular menstrual cycle or periods in Hindi?

साधारण भाषा में बोले तो अनियमित मासिक धर्म  का अर्थ होता हैं की पीरिएड का सही समय पर नहीं आना. हम सभी जानते हैं कि एक स्वस्थ लड़की या स्त्री के मासिक धर्म यानी पीरियड्स का औसत समय 21 दिन से 35 दिन के मध्य का हो सकता है. इस औसत को ध्यान में रखकर माहवारी की वार्षिक गणना करे तो हम पाएंगे कि एक वर्ष में 11 से 13 बार पीरियड्स आना एक सहज स्थिति है, किन्तु इस औसत से कम या ज्यादा पीरियड्स का आना अनियमित मासिक धर्म कहलाता है.

मासिक धर्म की अनियमितता के कारण
Causes of irregular menstrual cycle or periods in Hindi

अनियमित मासिक धर्म के कारण अनेक होते हैं, जिन्हें यहां पर बता रहे हैं. मासिक धर्म की अनियमितता के मुख्य कारण निम्नलिखित है-
  • आपके दैनिक भोजन में असंतुलन व अनियमितता की वजह से भी अनियमित पीरियड्स की परेशानी शुरू हो सकती है.
  • यदि कोई लड़की या स्त्री काफी समय के लिए बीमार होने के कारण भी अनियमित मासिक धर्म की समस्या हो सकती है.
  • किसी लड़की या स्त्री के वेट के ज्यादा बढने और कम होने के कारण भी अनियमित माहवारी की परेशानी शुरू हो जाती है.
  • यदि आप व्यायाम करते हैं और अधिक समय तक व्यायाम करते हैं तो यह भी अनियमित मासिक धर्म का कारण बन सकता है.
  • यदि किसी लड़की या स्त्री को पहले से ही थायराइड से संबंधित समस्या हैं तो भी यह अनियमित पीरियड्स का कारण हो सकता है.
  • अत्याधिक मेंटली प्रेशर यानी मानसिक दबाव और टेंशन की वजह से अनियमित पीरियड्स शुरू हो सकते है.
  • गर्भपात, मिसकैरेज गर्भावस्था के बाद पीरियड शुरू होने के बाद की मासिक धर्म की अनियमितता की समस्या उत्पन्न हो सकती है.
  • इन सबके अलावा फास्ट फूड, डिब्बाबंद खाना, ज्यादा दवाइयों के सेवन तथा अनियमित जीवनशैली की वजह से भी मासिक धर्म में अनियमितता उत्पन्न हो सकती है.

अनियमित मासिक धर्म के लक्षण क्या हैं?
What is the symptoms of irregular menstrual cycle, periods in Hindi.

मासिक धर्म की अनियमितता के लक्षण अनेक हो सकते है, जिनमें प्रमुख निम्नलिखित है-
  • अनियमित मासिक धर्म के प्रमुख लक्षण हैं कि किसी स्त्री के शरीर में दर्द होना जिनमें विशेषकर पेट दर्द, हाथ पैर में दर्द, स्तनों में दर्द और कमर में दर्द होना प्रमुख है. हालांकि सामान्य पीरियड्स आने के लक्षण भी यही होते है.
  • थोड़ा सा कार्य करने पर ही अधिक थकान भी महसूस होना अनियमित पीरियड्स का लक्षण हो सकता है.
  • भोजन में अरुचि होना और भूख कम लगना भी मासिक धर्म की अनियमितता का लक्षण हो सकता है.
  • काफी समय से कब्ज तथा दस्त की समस्या होना भी अनियमित मासिक धर्म का लक्षण होता है.
  • पेडू में दर्द और गर्भाशय में दर्द होना भी अनियमित माहवारी के लक्षण हो सकता है.
पीरियड में संबंध बनाने के नुकसान
अनियमित मासिक धर्म से बचने के घरेलु उपचार व उपाय
Home remedies for irregular menstrual cycle, periods

अनियमित मासिक धर्म से बचने के घरेलू उपचार व उपाय पुराने समय से ही काम में लिए जाते रहे हैं. यह देसी आयुर्वेदिक उपचार काफी कारगर सिद्ध होते हैं. इनका उपयुक्त मात्रा व समय पर सेवन करने से अनियमित माहवारी की समस्या का समाधान हो जाता है.
अनियमित मासिक धर्म से बचने के घरेलु उपचार व उपाय निम्नलिखित है-
  • मूली का सेवन करने से भी अनियमित मासिक धर्म की परेशानी से छुटकारा मिलता है. इस हेतु 2 से 3 मूली का पेस्ट तैयार कर लें तथा इसमें थोड़ा सा दूध मिलाकर उपयोग में लेने से अनियमित माहवारी की परेशानी से छुटकारा मिल जाएगा.
  • अनियमित मासिक धर्म के उपचार के रूप में पपीता का उपयोग भी कारगर साबित होता है. इसके लिए आपको आधा पक्का हुआ यानी हरा पपीता उपयोग में लेना है. इसके नियमित सेवन से अनियमित माहवारी की चिंता से छुटकारा मिलता है. इसके साथ एक बात का हमेशा ख्याल रखें की जब पीरियड्स आए हुए हो पपीता का सेवन नहीं करना चाहिए.
  • गर्म दूध तथा अजवायन के उपयोग से माहवारी की अनियमितता का उपचार करना संभव है. इसके लिए आपको एक गिलास दूध तथा 10gm अजवायन लेना है. अजवाइन को हथेली में मसल कर खा लेवे तथा इसके बाद एक गिलास दूध पी लेवें. इसका सेवन रोजाना करने से आपकी अनियमित पीरियड्स की समस्या का समाधान हो जाएगा.
  • लौकी का सेवन भी इरेगुलर पीरियड्स की प्रॉब्लम से निजात दिलाने में सहायक होता है. इसके लिए लौकी का जूस बनाकर रोजाना सेवन करना लाभदायक होता है. लौकी का जूस फीका तथा थोड़ा सा कड़वा होता है लेकिन अनियमित मासिक धर्म के उपचार के लिए यह बहुत ही कारगर रहता है.
  • अनियमित मासिक धर्म को रोकने के आयुर्वेदिक उपाय के रूप में सौंफ का उपयोग भी किया जाता है. सौंफ का उपयोग आप दो तरह से कर सकते हैं, पहला तो यह है कि आप सौंफ को साबूत चबाकर उपयोग में ले सकते हो या दूसरा तरीका यह है कि आप सौंफ को रात भर पानी में भिगोकर रख देवें तथा सुबह इस पानी को छानकर पी लेवें. इस प्रयोग से आपको अनियमित माहवारी से संत तुकाराम मिल जाएगा.
  • इन सब के अलावा अंजीर, गुड़, तिल, गाजर तथा कच्चे अंगूर को भी अपने दैनिक आहार में सेवन करे जिससे अनियमित माहवारी की परेशानी से निजात मिल सके.
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इस तरह आज की पोस्ट में हमने अनियमित मासिक धर्म क्या है और मासिक धर्म की अनियमितता कारण लक्षण तथा मासिक धर्म की अनियमितता के घरेलू आयुर्वेदिक उपचार के बारे मे जानकारी दी है जो आपको कैसी लगी, हमे जरूर बताएं.
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